रायपुर : कांग्रेस के 85वें महाधिवेशन में राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने नया नारा जारी कर दिया है. रायपुर में अधिवेशन के दूसरे दिन संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि आज देश का माहौल नफरती हो गया है. आज सत्ता में बैठे लोगों ने देश की जनता के अधिकारों और मूल्यों का हनन किया. आज देश में नए आंदोलन की शुरुआत की जरूरत है. हर कांग्रेसी को आगे आकर संकल्प लेकर कहना होगा कि “सेवा, संघर्ष और बलिदान, सबसे पहले हिंदुस्तान…” भारत सबसे कठिन दौर से गुजर रहा है. भाजपा सत्ता के लिए संसद से लेकर संवैधानिक संस्थाओं तक की मर्यादा को तोड़ रही है.
महंगाई से घर का बजट बिगड़ गया है. नफरत के माहौल ने सामाजिक माहौल को बिगाड़ दिया है. सीबीआई, ईडी से चुनी हुई सरकारों को गिराया जा रहा है. इस अधिवेशन को रोकने के लिए छत्तीसगढ़ में छापा मारा गया, गिरफ्तारी की गई. सीएम और कार्यकर्ताओं ने मुकाबला किया है. यही कांग्रेस की ताकत है. मुकाबला करना भी सीखना चाहिए. देश को जोड़ने का आंदोलन चलाना है, यही कांग्रेस का संकल्प है.
खड़गे ने कहा कि कांग्रेस ने 70 सालों में जो बनाया था, उसी को भाजपा सरकार बेच खा रही है. कांग्रेस अध्यक्ष ने साल 1924 का जिक्र किया. उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी जी कनार्टक के अधिवेशन में पहली बार अध्यक्ष बने थे. मजदूरों, किसानों को बेलगाम अधिवेशन में कांग्रेस के झंडे से जोड़ा. गांधीजी ने कांग्रेस को भारत के किसानों, मजदूरों, वंचितों को जोड़ा. यहीं से कांग्रेस एक जन आंदोलन के रूप में आई और देश कांग्रेस के साथ खड़ा हुआ. कांग्रेस ने छूआछूत और जाति भेदभाव को अपने एजेंडा में शामिल किया था.
उन्होंने कहा कि अंतिम सांस तक देश के लिए काम करूंगा. यह केवल कांग्रेस में ही संभव है कि एक साधारण व्यक्ति जो ब्लॉक कमेटी का अध्यक्ष था, वह कांग्रेस का अध्यक्ष है. यह कांग्रेस और लोकतंत्र का सबसे बड़ा सबूत है.
खड़गे ने भावुक होते हुए कहा कि मैं और आप सब उस गौरवशाली विरासत की नुमाइंदगी कर रहे हैं, जिसको गांधीजी, नेहरू, आजाद, बोस, डॉ. राजेंद्र प्रसाद, इंदिरा, राजीव, सरोजनी नायडू ने त्याग और बलिदान से सीचा है.