
राजनांदगांव को मिली बड़ी सौगात, 375 करोड़ की लागत से ईएमसी और एसएमसी की होगी स्थापना
रायपुर- राजनांदगांव जिले के विकास में एक नया अध्याय जुड़ गया है. जिले के ग्राम पटेवा में 350 करोड़ रुपये की लागत से इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर (ईएमसी-2.0) और ग्राम बिजेतला में 25 करोड़ रुपये की लागत से प्रदेश के पहले स्पेस मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर (एसएमसी) की स्थापना की जा रही है. यह पहल न केवल जिले बल्कि पूरे प्रदेश के औद्योगिक परिदृश्य को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाएगी.
इस महत्वपूर्ण उपलब्धि पर विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह ने कहा कि इससे राजनांदगांव को इलेक्ट्रॉनिक्स और स्पेस निर्माण क्षेत्र में राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एक नई पहचान मिलेगी. उन्होंने कहा कि इन परियोजनाओं से रोजगार के बड़े अवसर सृजित होंगे और औद्योगिक विकास को नई गति मिलेगी. डॉ. रमन सिंह ने मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री लखनलाल देवांगन के प्रति आभार जताते हुए कहा कि यह पहल राजनांदगांव के विकास को नई दिशा देगी.
छत्तीसगढ़ शासन द्वारा सेक्टर आधारित उद्योगों को बढ़ावा देने की नीति के अंतर्गत, स्मार्ट औद्योगिक क्षेत्र एवं पार्कों की स्थापना की जा रही है. इसी क्रम में भारत सरकार के इलेक्ट्रॉनिकी और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय की योजना के तहत तहसील घुमका के ग्राम पटेवा में लगभग 322 एकड़ में ईएमसी-2.0 विकसित किया जाएगा. वहीं, अंतरिक्ष विभाग की योजना के तहत ग्राम बिजेतला में लगभग 50 एकड़ में एसएमसी की स्थापना की जाएगी. इन दोनों क्लस्टरों की स्थापना से न केवल प्रदेश में तकनीकी और औद्योगिक निवेश को बढ़ावा मिलेगा, बल्कि राजनांदगांव को उभरते हुए औद्योगिक हब के रूप में राष्ट्रीय स्तर पर नई पहचान भी मिलेगी. यह परियोजनाएं कौशल विकास, तकनीकी शिक्षा और रोज़गार की दिशा में क्रांतिकारी कदम साबित होंगी.